प्रमुख संवाददाता
गाजियाबाद (युग करवट)। जीडीए लंबे समय से एलिवेटेड रोड और मेट्रो पर सेस लगाने की कोशिश में था। हालांकि गत दिनों यह विवाद कोर्ट तक पहुंच गया था। कोर्ट में जीडीए की इस कोशिश के खिलाफ बिल्डरों ने कोर्ट का दरवाजा खटाखटाया था। इस दौरान जीडीए केस हार गया था। मगर बाद में जीडीए की ओर से शासन में यह कोशिश शुरू की गई। अब एलिवेटेड रोड और मेट्रो पर सेस लगाकर जीडीए इनकम करने की तैयारी में है। जीडीए सूत्रों का दावा है कि इसके लिए राज्यपाल की ओर से मंजूरी जारी कर दी गई है। इसके साथ ही अब जीडीए अध्यादेश के जरिए सेस लगाकर अपनी इनकम बढ़ाने की कोशिश में है।
दरअसल एलिवेटेड रोड पर जीडीए ने कई सौ करोड़ रुपये खर्च किया है। इसी तरह से दिलशाद गार्डन से नया बस अड्डा मेट्रो पर भी जीडीए ने मोटी रकम खर्च की है। जीडीए के पास अब पैसे की कमी है। यहीं कारण है कि जीडीए चाहता है कि जो पैसा इन सुविधाओं में लगाया गया है सेस लगाकर इनकम की जाए। ताकी शहर के लोगों को और नवीन सुविधाएं जीडीए दे सके। इसी के चलते ही माना गया कि जब जीडीए इस मामले में केस कोर्ट में हार गया तो उन्होंने अध्यादेश के जरिए सेस लगाने की कोशिश की। जिसमें जीडीए फिलहाल कामायाब होता नजर आ रहा है। अगर जीडीए सेस लगाता है तो इससे उसकी इनकम में ईजाफा होगा। साथ ही इससे आम लोगों के लिए जीडीए पैसा लगाकर दूसरी नई सुविधा भी डवेलप कर सकेगा।