गाजियाबाद कमिश्नरेट बनने के बाद गौवंश की हत्या किये जाने का मामला सामने आया। एक साथ पांच गायों की हत्या से किसी का भी खून खोल सकता है। जाहिर है गाय को माता मानते हैं और कोई भी माता की हत्या बर्दाश्त नहीं कर सकता। इसका जो विरोध होता वह भी स्वाभाविक है। ऐसे लोगों के खिलाफ सख्त से सख्त कार्रवाई होनी चाहिए जिससे फिर कोई इस तरह की हरकत ना कर सके। अब तक इस तरह की घटनाएं मुस्लिम आबादी क्षेत्र में होती थीं, लेकिन आज की घटना को लेकर जिस तरह की चर्चाएं हैं वे भी जांच का विषय होनी चाहिए। जहां पर गौ हत्याएं की गई हैं वहां मुस्लिम आबादी कम है, लेकिन सूत्र बताते हैं कि यहां पर कुछ झुग्गियां पड़ी हुई हैं उसमें रोहिंग्या मुसलमानों के रहने की बात सामने आई है। जिसके खेत में गोवंश मिले हैं उस खेत का मालिक भी गैर मुस्लिम है। अब यहां पर किसी साजिश के तहत गौवंश डाले गए हैं, ये बड़ा सवाल है। वहीं अगर किसी ने इसी जगह पर गोवंश की हत्या की है तो ऐसी घिनौनी हरकत करने वालों के खिलाफ ऐसी कार्रवाई होनी चाहिए जिससे फिर आगे इस तरह की घिनौनी हरकत कोई नहीं कर सके। यदि किसी ने बाहर से लाकर यहां खेत में गोवंश डाले हैं तो उसके खिलाफ भी सख्त कार्रवाई होनी चाहिए। जो भी है जिसने भी साजिश की है या फिर जानबूझकर गौवंश की हत्या की है ऐसे लोगों के खिलाफ पुलिस प्रशासन को जल्द से जल्द कार्रवाई करनी चाहिए। बात यहां पर थानों की सीमाओं की नहीं होनी चाहिए। गाजियाबाद की पुलिस अगर सीमाओं में बंटेगी तो फिर कैसे कार्रवाई होगी। सूत्रों ने बताया कि मसूरी और बापूधाम थाने की सीमाओं के बीच यह घिनौनी हरकत हुई है। दोनों थानों की पुलिस इस बात को लेकर खुश भी है कि हमारे क्षेत्र में नहीं है, तो दूसरा टेंशन में है कि घटना हमारे क्षेत्र में हो गई। सीमाओं की बात न होकर सख्त से सख्त कार्रवाई होनी चाहिए, जिससे फिर इस तरह की कोई घिनौनी हरकत ना कर सके। क्योंकि जिस तरह गौहत्या की गई है कोई भी सभ्य समाज इसे बर्दाश्त नहीं करेगा, सहन नहीं करेगा। जिसने भी यह घिनौनी हरकत की है पुलिस प्रशासन को चाहिए कि उसके खिलाफ सख्त से सख्त कदम उठाये, जिससे फिर किसी गौमाता की हत्या ना हो सके। – जय हिन्द।